वंदे सरदार एकता पदयात्रा मेवात में सामाजिक समरसता का ऐतिहासिक अभियान

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-सरदार पटेल, वंदे मातरम् और राजा हसन खां मेवाती की विरासत को समर्पित 10 दिवसीय पदयात्रा
-100 से अधिक गांवों में पहुंचेगा एकता और राष्ट्रीय चेतना का संदेश
City24News/अनिल मोहनिया

नूंह | मेवात में सामाजिक सौहार्द, राष्ट्रीय एकजुटता और लोकनायकों की प्रेरक विरासत को जन-जन तक पहुंचाने के लिए “वंदे सरदार एकता पदयात्रा” का आयोजन 27 नवंबर से 6 दिसंबर 2025 तक किया जा रहा है। यह पदयात्रा क्षेत्र की सांस्कृतिक विरासत और सामाजिक एकता को सशक्त करने वाला अब तक का सबसे बड़ा जन-अभियान माना जा रहा है। यह यात्रा लौह-पुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल की 150वीं जयंती, राष्ट्रीय गीत वंदे मातरम् के 150 वर्ष और मेवात के वीर राजा हसन खां मेवाती के 500वें बलिदान वर्ष को समर्पित है। यात्रा का शुभारंभ 27 नवंबर को सरदार गुरमुख सिंह मलिक मेमोरियल स्कूल में सर्वधर्म प्रार्थना सभा से होगा। पहला पड़ाव शाहपुर नंगली स्थित 1857 के प्रथम स्वतंत्रता संग्राम के शहीद स्मारक पर निर्धारित है। पदयात्रा मेवात के 100 से अधिक गांवों और 15 शहीद स्मारकों से होती हुई कुल 157 किलोमीटर की दूरी तय करेगी। प्रमुख ठहराव स्थानों में आलदोका, मालब पॉलिटेक्निक, करहेड़ा स्कूल, ख्वाजली कलां, पुन्हाना, लुहिंगा कलां, रनियाला, रंगाला राजपुर और अंतिम पड़ाव नगीना स्थित शहीद राजा हसन खां मेवाती राजकीय महाविद्यालय शामिल हैं। यात्रा के दौरान तिरंगा मार्च, शहीद वंदन, सांस्कृतिक प्रस्तुतियां, युवा संवाद और एकता सभाएं आयोजित होंगी। आयोजन समिति के अध्यक्ष जफरूद्दीन बाघोड़िया, सलाहकार फजरूद्दीन बेसर, प्रवक्ता असलम गोरवाल और टीम ने बताया कि यह पदयात्रा नूंह जिले में सामाजिक विश्वास, भाईचारे और राष्ट्रभावना को नई दिशा देगी। यात्रा का समापन 6 दिसंबर को पिनगवां में होगा, जहां हजारों लोग वंदे मातरम् का सामूहिक गायन करेंगे। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को समापन समारोह के लिए आमंत्रित किया गया है। आयोजन समिति का संदेश मेवात की विरासत, एकता और राष्ट्रभावना एक साथ, एक राह है। इस यात्रा को सफल बनाने में टीम में जुटी हुई है और जिला उपायुक्त नूंह अखिल पिलानी को ज्ञापन भी सौंपा गया है। इस पदयात्रा की जिम्मेदारी सशक्त युवा फाउंडेशन के सौजन्य से किया जा रहा है। इस अभियान को वंदे सरदार एकता पदयात्रा आयोजन कमेटी संभाल रही है। इस अभियान में जिले के विभिन्न सामाजिक संगठन, सामाजिक कार्यकर्ता, बुद्धिजीवी और महिलाएं भी सहयोग कर रही है। गांव कुर्थला में 28 नवंबर को महिला सम्मेलन शहीद लेफ्टिनेंट किरण शेखावत को समर्पित होगा।

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