दलबल के साथ मोडी आश्रम पंहुचे एसडीएम को आश्रम संचालक नहीं दिखा सका लीगल दस्तावेज

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-पंचायत की एक एकड भूमि पर एनजीओ द्वारा अवैध रूप से चलाया जा रहा है बेसहारा अनाथ आश्रम
-ग्रामीणों ने आश्रम के नाम पर अवैध चंदा वसूली के लगाए आरोप
City24news/सुनील दीक्षित
कनीना | कनीना-अटेली सडक मार्ग स्थित सब डिवीजन के गांव मोडी में पंचायती जमींन पर बने भवन में एक एनजीओ द्वारा अवैध रूप से एक एनजीओ द्वारा संचालित किया जा रहा बेसहारा अनाथ आश्रम आजकल मीडिया की सुर्खियां बना हुआ है। इस आश्रम में सोमवार को कनीना के एसडीएम डाॅ जितेंद्र सिंह अहलावत सहित डीएसपी दिनेश कुमार, बीडीपीओ नवजीत, थाना इंचार्ज निरीक्षक मुकेश कुमार पंहुचे ओर संचालक पवन कुमार से पंचायती भूमि पर चल रहे आश्रम के लीगल कागजात दिखाने को कहा। जिसे वह नहीं दिखा सका। एसडीएम ने उसे जल्द ही भूमि खाली करने को कहा। इतना ही नहीं आश्रम में रह रहे करीब दर्जनभर लोगों की सूचि प्रदान करने को कहा। जिस पर पवन कुमार ने करीब तीन दर्जनभर व्यक्तियों को सूचि सांय छह बजे तक बीडीपीओ को उपलब्ध कराने की बात कही है।
कब्जा कार्रवाई के लिए बीडीपीओ की ओर से लिखा गया था पत्र
बता दें कि पिछले करीब पांच वर्ष से सामाजिक संगठन द्वारा अवैध रूप से कब्जा करवाने के प्रयास किए जाने को लेकर बीते बृहस्पतिवार, 20 मार्च को यहां पर कब्जा कार्रवाई की जानी थी लेकिन पुलिस सहायता न मिल पाने के कारण स्थगित हो गयी थी। कनीना के बीडीपीओ नवदीप की ओर से पुलिस सहायता के लिए एसपी को पत्र लिखा गया था। सरपंच अनिता देवी ने बताया कि मोडी निवासी पवन कुमार ने तत्कालीन पंचायत को सुपुर्द की गई सत्य भारती स्कूल की बिल्डिंग में अवैध रूप से संचालित किए गए ’बेसहारा शांतिकुंज अनाथ’ आश्रम के जरिए एक एकड भूमि की चारदीवारी एवं उसमें बने आठ कमरे सहित बरामदे व टाॅयलेट पर अवैध कब्जा किया हुआ है। उन्होंने बताया कि संचालक द्वारा अनेक नामों से आश्रम के नाम पर चंदा वसूली की जाती है। अनाथ आश्रम के नाम पर जनता से मिलने वाले पैसे का दुरूपयोग किया जा रहा है। पंचायती जमींन पर बनी भवन को उसके चंगुल से खाली कराने तथा उस स्थान पर ई-लाईबे्ररी व व्यायामशाला खोली जानी प्रस्तावित हंै।
पूर्व सरपंच गजराज सिंह, जगन सिंह,कर्णसिंह, सरपंच प्रतिनिध रामनिवास ने बताया कि अनाथ आश्रम की आड में एनजीओ संचालक पवन कुमार पंचायती जमींन पर अवैध कब्जा करना चाहता है।
व्यक्तियों को बंधक बनाकर रखने का आरोप
ग्रामीणों ने कहा कि अनाथ आश्रम में रहने वाले महिला व पुरूषों को गेट बंद कर बंधक की भांंित रखा जाता है जबकि वे वहां से जाने को तैयार है। चारदीवारी पर लोहे के तार लगाकर उसमें बिजली का करेंट छोडा गया है। चंदे के नाम पर अवैध वसूली की जा रही है। उन्होंने कहा कि आश्रम में रहने वाले व्यक्तियों से फसल कटाई करवाकर मजदूरी करवाई जाती है।
आश्रम के भीतर जाने के लिए संचालक की अनुमति लेनी पडती है। अंदर रह रहे किसी व्यक्ति द्वारा किसी अधिकारी-कर्मचारी के सामने वहां से जाने की बात कही जाती है या आश्रम की असलियत बताई जाती है तो उनसे मारपीट तक की जाती है। उनकी प्रताडना से बीते समय दो अनजान व्यक्तियों की मौत होने की बात भी कही जा रही है। उन्होंने बताया कि जिले में कहीं भी कोई अनजान वृद्ध एवं मंदबुद्धि जैसा व्यक्ति घूमता दिखाई देता है तो उसे मोडी लाया जाता है। जहां उनके मजदूरी तक कराई जाती है। अनाथ आश्रम के नाम पर जगह-जगह चंदावसूली की जाती है। अनाथ आश्रम के नाम पर दानी सज्जनों द्वारा यहां पर सोलर सिस्टम लगाया है वहीं 30-35 बैड उपलब्ध कराए गए हैं। जिन पर वह अपना हक जता रहा है।
बीडीपीओ के निरीक्षण के समय गेट पर लटका मिला था ताला
उन्होंने बताया कि कनीना के खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी नवदीप ने औचक निरीक्षण कर असलियत जानी थी। जिसमें उन्होंने आश्रम के गेट पर ताला लटका मिला था। उनके परिजनों के कहने पर पवन कुमार की अनुमति से ताला खोला गया। बीडीपीओ ने आश्रम में रह रहे लोगों से बातचीत की जिसमें उन्होंने स्वयं को बंधक बना जाने जैसी बाते कही थी। वे लोग वहां से जाना चाहते थे लेकिन उन्हें जबरन वहां रोका गया था।
वर्सन एसडीएम
इस बारे में एसडीएम डाॅ जितेंद्र सिंह अहलावत ने कहा कि सोमवार को उनकी ओर से अनाथ आश्रम का मौका निरीक्षण किया गया। संचालक से आश्रम के वैध कागजात दिखाने को कहा जिसे वह नहीं दिखा सका। आश्रम में रह रहे व्यक्तियों की सूचि मांगी गई है। उसके बाद आश्रम को खाली कराने की कार्रवाई की जाएगी।