बाल दिवस पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने किया बाल गृहों और सालाहेड़ी स्कूल में बच्चों के लिए गर्म कपड़ों का वितरण

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समाज के कमजोर और वंचित तबकों की सहायता करना हम सभी की जिम्मेदारी : नेहा गुप्ता 
City24news/अनिल मोहनिया
नूंह | जिला एवं सत्र न्यायाधीश-सह-अध्यक्ष, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, नूंह सुशील कुमार एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की सचिव एवं सीजेएम नेहा गुप्ता की अध्यक्षता में बाल दिवस के अवसर पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने समाज के जरूरतमंद बच्चों की मदद के लिए एक महत्वपूर्ण पहल की। इस खास दिन पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने दो बाल गृहों में बच्चों के बीच वूलन स्वेटर और कैप्स का निःशुल्क वितरण किया, ताकि वे ठंड के मौसम में सुरक्षित और गर्म महसूस कर सकें। 

   सुशील कुमार और नेहा गुप्ता ने गुस्बैथी, तावडू स्थित दीपालय बाल गृह में 66 बच्चों के लिए और गांव भंगो स्थित प्रोजेक्ट कंसर्न इंटरनेशनल बाल गृह में 18 बच्चों के लिए वूलन स्वेटर और कैप्स वितरित किए। इस पहल का उद्देश्य उन बच्चों की सहायता करना था जो अपनी मूलभूत आवश्यकताओं के लिए समाज पर निर्भर हैं और जिन्हें ठंड से बचाव के लिए अतिरिक्त सहयोग की जरूरत है। इस आयोजन के दौरान डीएलएसए नूह की टीम ने बच्चों से बातचीत की और उन्हें प्रेरणा दी कि वे कठिन परिस्थितियों में भी सकारात्मक सोच बनाए रखें। बच्चों ने स्वेटर और कैप्स पाकर खुशी जताई और उनके चेहरे पर उत्साह और आत्मविश्वास झलकता दिखाई दिया।

  इसके अतिरिक्त, इस अवसर पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने सलाहेड़ी स्कूल में एक विशेष कैंप का आयोजन किया, जिसमें बच्चों को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक किया गया। इस कैंप का मुख्य उद्देश्य बच्चों के भीतर आत्म-विश्वास जगाना और उनके अधिकारों, कर्तव्यों एवं महत्व के प्रति जागरूक करना था। कैंप में नेहा गुप्ता, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट-सह-सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, नूंह ने बच्चों से संवाद स्थापित किया, उन्हें जीवन में आने वाली चुनौतियों से निपटने के उपाय सिखाए, और प्रेरणा दी कि वे शिक्षा के माध्यम से अपने भविष्य को उज्जवल बना सकते हैं। इसके अतिरिक्त, कैंप के दौरान डीएलएसए नूंह ने 50 गरीब एवं जरूरतमंद बच्चों को वूलन स्वेटर वितरित किए। ठंड के मौसम को ध्यान में रखते हुए यह स्वेटर बच्चों के लिए बेहद लाभकारी सिद्ध होंगे। इस पहल से बच्चों के चेहरे पर मुस्कान बिखरी और उन्होंने अपनी प्रसन्नता व्यक्त की।

  नेहा गुप्ता ने बताया कि इस महत्वपूर्ण पहल से यह संदेश गया कि समाज के कमजोर और वंचित तबकों की सहायता करना हम सभी की जिम्मेदारी है, समाज के हर तबके को बच्चों की शिक्षा, स्वास्थ्य और अधिकारों के प्रति जिम्मेदारी से काम करना चाहिए ताकि भविष्य में एक समर्थ और सशक्त समाज का निर्माण हो सके। बाल गृहों और सलाहरी स्कूल के बच्चों के लिए की गई यह मदद न केवल उनकी मौसमी आवश्यकताओं को पूरा करती है, बल्कि उन्हें यह भी अहसास कराती है कि समाज उनके साथ खड़ा है।

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