महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा पोषण माह एवं बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन।

City24news/अनिल मोहनिया
नूंह | उपायुक्त अखिल पिलानी के नेतृत्व में महिला एवं बाल विकास विभाग नूंह द्वारा ग्राम खेड़ला में ग्रामीण महिलाओं और किशोरियों को जागरूक करने के उद्देश्य से “पोषण माह – बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ” अभियान एवं महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम ग्रामीण समाज में स्वास्थ्य, पोषण, शिक्षा और महिला अधिकारों से संबंधित योजनाओं की जानकारी पहुँचाने के साथ-साथ सहभागिता को बढ़ावा देने का एक महत्वपूर्ण प्रयास रहा।
जिला मिशन संयोजक महिला सशक्तिकरण विकल ने जिला मिशन शक्ति संयोजक, नूंह ने प्रतिभागियों को कुपोषण मुक्त भारत अभियान, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, स्वच्छता अभियान और अन्य विभागीय योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने व्यवहार परिवर्तन संचार (बी.सी.सी.) की विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से ग्रामीण महिलाओं को यह समझाया कि छोटे-छोटे बदलाव अपनाकर परिवार के स्वास्थ्य और बच्चों के भविष्य में बड़ा सुधार किया जा सकता है। प्रश्नोत्तर सत्र के दौरान महिलाओं को योजनाओं के लाभ उठाने की प्रक्रिया तथा आपसी सहयोग से समाज में सकारात्मक बदलाव लाने के तरीकों की जानकारी दी गई।
उन्होंने बताया कि कार्यक्रम में महिला गोष्ठी का आयोजन किया गया जिसमें पोषण माह से जुड़ी गतिविधियों पर विशेष चर्चा की गई। छह माह के बच्चों का अन्नप्राशन संस्कार कर महिलाओं को उचित पोषण संबंधी जानकारी दी गई। ग्रामीण महिलाओं को जागरूक करने के लिए प्रेरक कहानियों और संवादात्मक गतिविधियों का सहारा लिया गया ताकि संदेश सरल भाषा में उन तक पहुँच सके। पोषण अभियान जिला संयोजक अनूप ने बताया कि पोषण और शिक्षा महिलाओं व बच्चों के उज्जवल भविष्य की नींव हैं। ऐसे कार्यक्रम न केवल जागरूकता बढ़ाते हैं बल्कि ग्रामीण समाज को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम भी साबित होते हैं। इस कार्यक्रम के सफल आयोजन में सुपरवाइजर मंजू, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता रेहना, ममता, धनवती आदि का विशेष योगदान रहा। सुपरवाइजर सिंपी एवं सरोज यादव की उपस्थिति से कार्यक्रम को और अधिक प्रभावशाली बनाया गया। ग्रामीण महिलाओं ने इस अवसर पर सक्रिय भागीदारी निभाई और विभाग से आग्रह किया कि भविष्य में भी इस प्रकार के जागरूकता कार्यक्रम नियमित रूप से आयोजित किए जाएं ताकि महिलाओं और किशोरियों को सशक्त बनाकर समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाया जा सके। संकल्प जागरूकता अभियान के अंतर्गत मिशन शक्ति के 10 दिवसीय जागरूकता कार्यक्रम में महिला गोष्ठी का आयोजन किया गया जिसमें जेंडर सेंसटाइजेशन वह सहेली प्रोजेक्ट के बारे में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व ग्रामीण महिलाओं से जानकारी साझा की गई।