बागोत के मोहित सुसाइड मामला

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हाइकोर्ट के आदेश दरकिनार,मृतक का पिता एकसूत्री मांग एफआईआर करने पर अडा
जिला प्रशासन ने एचएचआरसी व हाईकोर्ट में जवाबी एप्लीकेशन दाखिल की

City24news/सुनील दीक्षित
कनीना | कनीना सब डिवीजन के गांव बागोत निवासी कैलाश चंद द्वारा पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट चंडीगढ द्वारा दिए गए आदेशों को दरकिनार कर दिया है। उनकी ओर से एकसूत्री मांग एफआईआर दर्ज करने की रखी जा रही है। उसके बाद उनकी ओर से मृतक बेटे का दाह संस्कार करने की बात कही जा रही है।
कैलाशचंद द्वारा उच्च न्यायालय में दाखिल की गई अर्जी पर बीते बृहस्पतिवार को माननीय न्यायधीश हरप्रीत सिंह बरार ने तीन दिन में मृतक मोहित का अंतिम संस्कार करने के आदेश दिऐ थे। यह समयावधि रविवार, 19 जनवरी को पूरी हो गई। 20 जनवरी को कनीना के एसडीएम जितेंद्र सिंह व डीएसपी दिनेश कुमार एचएचआरसी, हरियाणा ह्यूमन राईट कमीशन एवं हाईकोर्ट पंहुचे ओर जवाबी एप्लीकेशन दाखिल की। जिस पर अभी निर्णय नहीं लिया जा सका है। कैलाश चंद ने कहा कि अभी तक उनके पास उनके वकील या हाईकोर्ट की ओर से किसी प्रकार की कोई जानकारी नहीं मिली है।
ईधर परिजनों ने सुसाइड कर चुके 26 वर्षीय मोहित के शव का 40 दिन बाद भी अंतिम संस्कार नहीं किया है। बृहस्पतिवार को सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने वादी कैलाश चंद एवं प्रतिवादी पक्ष हरियाणा सरकार के सीनियर डीएजी सुखदीप परमार की दलीलों को गंभीरतापूर्वक सुनकर 3 दिन की अवधि के भीतर मोहित का दाह संस्कार करने, उनके द्वारा लगाए गए आरोपों की जांच आईपीएस अधिकारी से करवाने तथा जांच में सहयोग करने के आदेश दिए थे। इन आदेशों पर कैलाशचंद नहीं टिक पाया। जिसके चलते मृतक का अंतिम संस्कार नहीं किया गया। दूसरी ओर सरकार ने उनके आरोप पत्र की जांच के लिए किसी आईपीएस अधिकारी को डेप्यूट नहीं किया गया है। 20 मई 2025 तक मामले की सुनवाई स्थगित कर दी है। सोमवार सांय थाना इंचार्ज नोटिस तामील करवाने गया तो कैलाश चंद ने उसे रिसीव करने से मना कर दिया। कैलाशचंद का कहना है कि पुलिस पहले एफआईआर दर्ज करे उसके बाद वह अपने बेटे का अंतिम संस्कार करेगा।
बता दें कि 26 वर्षीय युवक मोहित द्वारा बीती 13 दिसंबर 2024 की रात आठ बजे फांसी लगाकर आत्म हत्या कर ली थी। जिसकी सूचना मिलने पर कनीना सदर थाना पुलिस ने मौके पर पंहुचकर शव को कब्जे में लेकर शनिवार 14 दिसंबर 2024 को उन्होने कनीना अस्पताल में पोस्टमार्टम करवा दिया था। मृतक युवक के पिता कैलाश चंद ने प्रदेश के पूर्व मंत्री सहित 8 व्यक्तियों के विरूध कार्रवाई की मांग को लेकर शव लेने से मना कर दिया था। जबकि मृतक से किसी प्रकार का सुसाइड नोट आदि नहीं मिला था। पिछले 40 दिन से मृतक युवक का शव एसडीएच कनीना के फ्रीजर में रखा हुआ है। जिसमें दुर्गंध उठने लगी है। समाचार लिखे जाने तक शव का अंतिम संस्कार नहीं किया जा सका था। सुरक्षा व्यवस्था के लिए पुलिस कर्मचारी हालातों पर लगातार नजर बनाए हुए है।

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