गोवर्धन पूजा पर मंगलवार को अन्नकुट का प्रसाद वितरित

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-रामेश्वरदास में हुआ समारोह का आयोजन
-महाराज की पुण्यतिथि पर 12 नवंबर को होगा धार्मिक समारोह का आयोजन
 -मंदिर में लगे अति दुर्लभ चित्र व प्रतिमा बनी श्रद्धालुओं के आकर्षण का केंद्र
City24news/सुनील दीक्षित

कनीना | आठ एकड़ में फैले क्षेत्र के प्रसिद्ध रामेश्वरदास मंदिर में मंगलवार को अन्नकुट का प्रसाद तैयार कर वितरित किया गया। जबकि कुछ मंदिरों में 22 अक्टूबर को अन्नकुट पर्व मनाया जायेगा। हरियाणा-राजस्थान की सीमा से सटे गांव बामनवास में बने इस मंदिर के प्रति श्रधालुओं की आगध आस्था जुड़ी हुई है। मंदिर ट्रस्ट के प्रधान सुरेश केडिया ने बताया कि दीपावली पर्व के दूसरे दिन गोवर्धन पूजा व अन्नकुट का प्रसाद तैयार किया गया। जिसमें चावल, मूंग, बाजरा, कढी, सब्जी तैयार शामिल थी। उन्होंने बताया कि ट्रस्ट की स्थापना महाराज रामेश्वरदास की ओर से 1973 में की गई थी। उसके बाद मंदिर का विस्तार कार्य लगातार जारी रहा। यहां पर वर्ष में मुख्यत 6 समारोह रामनवमी, शारदीय व चैत्र नवरात्र, मकर सक्रांति, गोवर्धन पूजा तथा महाराज रामेश्वरदास की पुण्यतिथि पर आयोजित किये जाते हैं। जिनमें महेंद्रगढ जिला प्रशासन के अधिकारी एवं कर्मचारी सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालु हिस्सा लेते हैं।  
12 को मनायी जाएगी 41वीं पुण्यतिथि
सुरेश केडिया ने बताया कि मंदिर में आगामी 12 नवंबर, बुधवार को परम संत रामेश्वरदास की 41वीं पुण्यतिथि पर विशेष समारोह का आयोजन किया जायेगा। इस समारोह में 11 नवंबर सुबह से अखंड भजन-कीर्तन शुरू होगेें जो 24 घंटे तक जारी रहेगें। इस कार्यक्रम में हरियाणा व राजस्थान के मशहूर गायक-कलाकार हिस्सा लेकर धार्मिक भजनों की प्रस्तुति देगें। उसके बाद विशाल भंडारा होगा जिसमें दूर-दराज से आये श्रद्धालुओं को प्रसाद वितरित किया जायेगा। समारोह की तैयारियां अभी से शुरू कर दी गई हैं।
अब तक मंदिर ट्रस्ट के बने हैं 4 प्रधान
उन्होंने बताया कि 1973 से अब तक ट्रस्ट के 4 अध्यक्ष नियुक्त हुए हैं। जिनमें पहले प्रधान के रूप में रामशरण मित्तल, दूसरे आत्मा राम, तीसरे मोहन लाल मोदी तथा चौथे प्रधान सुरेश केडिया हैं। जो वर्तमान समय में प्रधान पद पर विराजमान हैं। ट्रस्ट के पदाधिकारी एवं सदस्य मंदिर की मान-मर्यादा एवं उसकी ख्याति बढाने के प्रति समर्पित हैं।
देवी-देवताओं के चित्र बन रहे आकर्षण का केंद्र
ट्रस्ट के चेयरमैन सुरेश केडिया ने बताया कि मंदिर एवं गौशाला में विभिन्न देवी-देवताओं व विद्वानों के अति दुर्लभ चित्र एवं आकर्षक प्रतिमा लगी हुई हैं। मंदिर के प्रवेश द्वार पर हनुमानजी की प्रतिमा लगी हुई है। द्वितीय तल पर शंकर भगवान के नंदी व शिवंलिग की स्थापना की गई है। मंदिर की दीवार पर बड़े अक्षरों में रूपया पैसा न चढावें ओर ना ही किसी को देवें लिखा गया है,जो मंदिर की खासियत को दर्शाता है। इस मौके पर हनुमान भारद्वाज, पवन भारद्वाज, विजय शर्मा, लक्ष्मण शास्त्री, सूबेदार कमलेश वशिष्ठ,सुनील कुमार नम्बरदार,दलीप सिंह, रतज रमन, मयंक, साक्षी, मुकुल, दिनेश यादव, उपस्थित थे।
कनीना-मंदिर में पहुंचे श्रद्धालु अन्नकुट का प्रसाद ग्रहण करते श्रद्धालु तथा श्रद्धालुओं को प्रसाद वितरित करते मंदिर के टस्टी।

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