‘तेरे मेरे सपने’ नाम से गुरुग्राम में खुला प्रदेश का पहला प्री-मैरिटल काउंसलिंग केंद्र

–राष्ट्रीय महिला आयोग की अनोखी पहल
City24news/ब्यूरो
गुरुग्राम। शादी से पहले युवाओं को मानसिक, भावनात्मक और सामाजिक रूप से तैयार करने ताकि वे अपने रिश्ते को बेहतर तरीके से समझ सकें और एक सफल वैवाहिक जीवन के साथ एक सुदृढ समाज का निर्माण करने में सहभागी बने। इन्हीं उद्देश्य की पूर्ति के लिए राष्ट्रीय महिला आयोग ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर गुरुग्राम में प्रदेश के पहले विवाह पूर्व परामर्श केंद्र (प्री-मैरिटल काउंसलिंग) “तेरे मेरे सपने” की शुरुआत की है।
जिला के नागरिक अस्पताल में स्थापित इस केंद्र का राष्ट्रीय महिला आयोग की सदस्य ममता कुमारी ने शुभारंभ किया। इस दौरान हरियाणा राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया भी मौजूद रही।
राष्ट्रीय महिला आयोग की सदस्य ममता कुमारी ने विवाह पूर्व परामर्श केंद्र का विधिवत रूप से शुभारंभ करने उपरन्त अपने संबोधन में कहा कि आज की आधुनिकता भरी जीवनशैली में जब हमारी वैवाहिक जीवन की समृद्ध व सुदृढ़ परंपरा किसी ना किसी रूप में प्रभावित हो रही है। ऐसे में राष्ट्रीय महिला आयोग का “तेरे मेरे सपने” जैसा सशक्त व सूझबूझ के साथ किया गया अनूठा व सार्थक प्रयास है। जिसमें समाज की भी महती भूमिका रहेगी। उन्होंने कहा कि आयोग का प्रयास है कि पारिवारिक तानेबाने की जो हमारी सुंदर संरचना रही है। उसको बरकरार रखते हुए परिवार से समाज व समाज से राष्ट्र निर्माण की परिपाटी पर हम आगे बढ़े। ममता कुमारी ने कहा कि आयोग ने आज अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में देश के 9 राज्यों में 21 स्थानों पर विवाह पूर्व परामर्श केंद्र की शुरुआत की है। उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास रहेगा कि इन परामर्श केंद्रों में विवाह से पूर्व युवा शक्ति को वैवाहिक जीवन में आपसी आत्मीयता व रिश्तों की बेहतर समझ कैसे विकसित की जा सके। इसके बारे में जागरुक किया जाएगा। उन्होंने कहा कि आयोग प्रयासरत है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वर्ष 2047 तक भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का जो लक्ष्य निर्धारित किया है। उसमे नारी शक्ति भी प्राथमिकता के साथ अपनी सहभागिता सुनिश्चित करेगी।
कार्यक्रम में उपस्थितजन को संबोधित करते हुए हरियाणा राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया ने कहा कि आज जब समाज में शादी के उपरांत नव दंपति में बेहतर समन्वय नही हो पाता है। जिसका सीधा प्रभाव बच्चों पर पड़ता है। इन परिस्थितियों से निपटने में ये परामर्श केंद्र महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। उन्होंने कहा कि इन केंद्रों में विशेषज्ञों द्वारा परामर्श दिया जाएगा, जिसमें शादी के रिश्ते को समझने, परिवार की भूमिका, भावनात्मक जुड़ाव और वैवाहिक जीवन में आने वाली चुनौतियों से निपटने के तरीके सिखाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि इस पहल के प्रचार-प्रसार के लिए संचार के सभी प्रमुख साधनों का प्राथमिकता के साथ उपयोग किया जाएगा ताकि अधिक से अधिक लोग इस बारे में जागरूक हो सकें।
इस अवसर पर नागरिक अस्पताल की पीएमओ डॉ जयमाला, सीडीपीओ अनुपमा,परामर्श केंद्र की इंचार्ज ज्योति सहित नागरिक अस्पताल का महिला स्टाफ व अन्य गणमान्य उपस्थित रहे।