कामधेनु आरोग्य संस्थान में मासिक हवन का हुआ आयोजन

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City24news/अनिल मोहनिया
नूंह | कामधेनु आरोग्य संस्थान के सभागार में मासिक हवन का आयोजन किया गया ।इस अवसर पर संस्थान में मुख्य अतिथि डॉ. राजीव मणि, विधि सचिव, विधि एवं न्याय मंत्रालय, भारत सरकार, आशीर्वचन मनीषी वक्ता पंडित श्याम स्वरूप मनावत,मानस मर्मज्ञ, उज्जैन, विशिष्ट अतिथि  अनिल कुमार गुप्ता, भारतीय राजस्व सेवा, प्रधान महानिदेशक, जीएसटी इंटेलिजेंस महानिदेशालय, ब्रह्म दत्त, राव इंद्रजीत सिंह के निजी सचिव, घनश्याम गुप्ता जावेरी, राष्ट्रीय अध्यक्ष, खाटू श्याम दिल्ली धाम, मदन जिंदल, निदेशक, जिंदल पोलीट्यूबस  प्राइवेट लिमिटेड, एच एन शर्मा, चंद्रशेखर के भूतपूर्व निजी सचिव, सी.आर गर्ग, आई.ए.एस (रिटायर्ड), जय कुमार गर्ग, रेवाड़ी, राज्यपाल यादव, जी.डी शर्मा, प्रसिद्ध समाजसेवी अशोक अग्रवाल, गोरक्षक रोहित यादव, प्रधान, श्री नन्दु गौशाला एवं उपचार केन्द्र, धारूहेड़ा तथा हरियाणा राज्य और देश के अनेक महानुभाव उपस्थित रहे।

सर्वप्रथम डॉ. एस. पी. गुप्ता ने हवन का शुभारम्भ किया । हवन का संचालन आदर्श गर्ग तावडू ने किया । हवन प्रथा के अनुसार अक्टूबर मास में जिन लोगों के जन्मदिवस, शादी की वर्षगांठ एवं पुण्यतिथि थी, उनके नाम से अग्नि देव को आहुति अर्पित की गई तथा समस्त मानव जाति के हित में सुख-शांति के लिए प्रार्थना की गई।

संस्थान के महामंत्री प्रियंक गुप्ता ने मंच का संचालन करते हुए कार्यक्रम का प्रारंभ किया। संस्थान के संस्थापक डॉ एस.पी. गुप्ता ने सभी अतिथियों का स्वागतार्थ परिचय करवाते हुए उनकी गौ-भक्ति का संक्षिप्त वर्णन किया और बताया की कामधेनु गौधाम में वर्ष 2013 से वैदीक मासिक हवन का अनवरत आयोजन हो रहा है।

डॉ. गुप्ता ने अच्छे स्वास्थ्य की आवश्यकता के विषय में बताते हुए कहा कि हम आर.ओ का पानी कभी न पियें और एल्कलाइन पानी का ही प्रयोग करें।  पानी हमेशा बैठ कर ही पिएं, खड़े होकर कभी नहीं।  पानी को चबा-चबा कर ही पियें।  4 -5  लीटर पानी प्रतिदिन जरूर पिएं। भोजन से आधे घंटे पहले और आधे घंटे बाद ही पानी पिएं। सुबह शौच जाने से पहले गुनगुने पानी का सेवन करें इससे दिल के दौरा पड़ने का खतरा बहुत कम हो जाता है । उन्होंने सभी गौ भक्तो का लगातार यहाँ आने के लिए धन्यवाद भी किया। 

स्वागत कार्यक्रम में डॉ. राजीव मणि का स्वागत एस. पी. गुप्ता, सुनील जिंदल, दिनेश गुप्ता ने, श्याम स्वरूप जी मनावत का शशि गुप्ता, पायल गुप्ता, डिम्पल गुप्ता ने, अनिल कुमार गुप्ता का नरेश गुप्ता, योगेश गुप्ता, आदर्श गुप्ता ने, ब्रह्म दत्त का मनीष शर्मा, वेंकटेश गुप्ता, राकेश मल्होत्रा ने, घनश्याम गुप्ता जावेरी का अनुपम गुप्ता, पुरेन्द्र गोयल, ऊषा गर्ग ने, मदन जिंदल का विशाल गर्ग, नरेश बिस्सर, रुचिर गुप्ता ने तुलसी का पौधा, कामधेनु स्मृति चिन्ह एवं संस्थान में पंचगव्य निर्मित घी का गिफ्टपैक भेंट करके किया ।  इसके अलावा सी.आर गर्ग, जय कुमार गर्ग, अशोक अग्रवाल, विनय सिंघल, रोहित यादव, यशपाल सिंह, गंगाराम निर्वाण आई.आर.एस का स्वागत भी डॉ एस.पी. गुप्ता और श्याम स्वरूप जी मनावत द्वारा किया गया।

घनश्याम गुप्ता जावेरी ने अपने सम्बोधन में कामधेनु आरोग्य संस्थान के प्रबंधन और यहाँ के सफाई / कार्य कुशलता कि प्रशंसा करते हुए डॉ. गुप्ता और उनके पूरे परिवार की सेवा भावना का हृदय से धन्यवाद किया।  उन्होंने खाटू श्याम दिल्ली धाम की भी विस्तृत जानकारी दी और डॉ. गुप्ता और उनके परिवार और पदाधिकारियों को आने के लिए निमंत्रित किया। उन्होंने बताया कि धाम में 36 अन्य धामों की भी स्थापना की जा रही है और यह धाम सनातन धर्म के अग्रणी संस्थान के रूप में सेवा करने को तत्पर है। यहाँ पर 300 से 40,000 लोगों के किसी भी कार्यक्रम जो भारत की संस्कृति और सभ्यता के प्रचार प्रसार से सम्बंधित है आयोजित किये जा सकते हैं। उन्होने बताया कि धाम में आने वाले 70 प्रतिशत से भी अधिक युवा वर्ग है।

इसके उपरांत कुमार ओमव गुप्ता ने भारतीय संस्कृति पर एक रचना प्रस्तुत की।

ब्रह्म दत्त ने अपने सम्बोधन में समुन्द्र मंथन से प्रकट कामधेनु, गौमाता के महत्व और गौग्रास निकालने के विषय पर चर्चा की। उन्होंने बताया कि वो कई वर्षो से संस्थान से जुड़े हुए हैं और कैसे-कैसे कामधेनु गौधाम में विकास हुआ उसका संक्षिप्त ब्यौरा दिया। उन्होंने यहाँ निर्मित उत्पादों और यहाँ के भोजन की भी विशेष प्रशंसा की । उन्होंने बताया कि उनके 3 पोते है और उन्होंने संकल्प किया है कि वो उनके अलावा चौथे पोते के रूप में गौमाता की भी सेवा करेंगे।

अनिल कुमार गुप्ता ने अपने संक्षिप्त वक्तव्य में उन्हें यहाँ बुलाने के लिए डॉ. गुप्ता का आभार व्यक्त किया और उन्होंने यहाँ आने और गौमाता की हो रही सेवा की प्रशंसा की।  

प्रियंक गुप्ता ने राजीव मणि के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि उन्होंने मेडिएशन, आर्बिट्रेशन और एक देश एक चुनाव पर हो रहे वैधानिक प्रावधानों पर बहुत कार्य किया है। उन्होंने यहाँ आज गौ भक्तो द्वारा दिए हुए दान कर्ताओं का भी जिक्र किया।

राजीव मणि ने अपने सम्बोधन में सर्वप्रथम ब्रह्मदत्त की उत्कृष्ट सेवा भावना की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि उन्होने गुरुग्राम का नाम केवल आई टी, उद्योग, व्यापार आदि के बारे में ही पता था लेकिन उसके पास कामधेनु आरोग्य संस्थान का होना हर्ष का विषय है। यह संस्थान कंकरीट के जंगल में शांति का स्थल है।  उन्होंने बताया कि वह स्वयं कृषक परिवार से है और उनके परिवार में गौसेवा के प्रति हमेशा से लगाव रहा है । उन्होंने स्वयं गौ दुग्ध दोहन किया है । उनके परिवार में गौ दुग्ध से निर्मित उत्पादों का ही प्रयोग होता है। बैलों की भी अपनी उपयोगिता है जिनके कारण हमारे घर में अनाज आता है।  आज जब भारतीय संस्कृति और सनातन धर्म पर चहुँ और से आक्रमण हो रहा है ऐसे में कामधेनु आरोग्य संस्थान का महत्त्व बहुत बढ़ जाता है।  उन्होने डॉ. गुप्ता और उनके सभी पदाधिकारियों का उन्हें यहाँ बुलाने के लिए धन्यवाद किया।  

हरी ओम गोयल ने अपने यातायात समाजसेवी अभियान के बारे में बताया कि सड़को पर हो रहे जाम और वहां हो रही दुर्घटनाओं के मद्देनज़र उन्होंने यातायात अभियान चलाया हुआ है। जिसमे proper lane, proper gap, i love lane driving, restless minds leads to careless driving, give way to ambulance आदि उद्धरण के द्वारा लोगों को जागरूक और सावधान करने का प्रयास किया जा रहा है।

मनीषी वक्ता पंडित श्याम स्वरूप मनावत, मानस मर्मज्ञ, उज्जैन ने अपने आशीर्वचन में बताया कि यहाँ पर उपस्थित गौभक्त देश की दशा और दिशा बदलने का कार्य करते हैं । उन्होंने बताया कि कलियुग महाकाल के दशांश है । राजा परीक्षित ने जब कलियुग पर गौरक्षा के लिए तलवार उठाई थी तो कलियुग राजा परीक्षित के चरणों में गिर पढ़ा था।  अतः जो भी गौरक्षा के लिए प्रयासरत है उसके आगे कलियुग परास्त होगा ही।

पंडित श्याम स्वरूप ने बताया कि मन त्रिगुणात्मक है। सत्वगुण में सेवा और समर्पण की भावना होती है और हरियाली का प्रतीक है। रजोगुण में सुविधा और सम्मान पाने की भावना होती है ।  सम्पूर्ण पृथ्वी रजोगुण की प्रतीक है। पृथ्वी को सतोगुणी बनाने के लिए भूमि को गौ-गोबर से लीपना होता है । कलिययुग तमोगुण का प्रतीक है जिसमे काम और निद्रा की बहुतायत होती है। पत्थर तमोगुण का प्रति है।  देश में अराजकता, भ्रष्टाचार और अपराध समाप्त करने के लिए सतोगुणी होना आवश्यक है। अस्वस्थ को स्वस्थ बनाने के लिए बजट होता है पर स्वस्थ को स्वस्थ रखने के लिए भी बजट अनिवार्य होना चाहिए।

गौमाता और पृथ्वी एक दूसरे की पर्याय है। जब जब पृथ्वी पर संकट आता है वो गौ का रूप धारण करके ही परमात्मा के पास जाती है। भगवान श्री कृष्ण ने ब्रह्मा जी की कृति से पूर्व पांच तत्वों की रचना की – पृथ्वी, जल, अग्नि, वायु, आकाश। इन 5 तत्वों के अधिष्ठाता इंद्र हुए। इन छह तत्वों की प्रत्यक्ष पूजा नहीं होती। यज्ञ से इन सभी तत्वों की पूजा हो जाती है। 3 तरह के मनुष्य होते है। प्रथम वो जो लेते कम है देते ज्यादा है जैसे पृथ्वी, यज्ञ। दुसरे वो जो जितना लेते है उतना ही देते है जैसे मनुष्य। तीसरे वो जो देते काम है और लेते ज्यादा है जैसे राक्षस। यज्ञ लेते बहुत काम है देते बहुत ज्यादा है। अतः सभी को यज्ञ जरूर करना चाहिए। जहाँ जहाँ गौमाता के घी का दीपक जलाया जाता है वहां सतोगुण का विकास होगा और तमोगुण भाग जायेगा।

इंसान को निस्वार्थी नहीं परमार्थी होना चाहिए। परमार्थी होने के लिए आम तौर पर इंसान में पागलपन, जूनून और संकल्प होता है  जैसे मीरा जी में, सुभाष चन्द्र बोस में , भगत सिंह, सुखदेव, राजगुरु में था। जब इनको फांसी दी जानी थी तीनों ने फांसी के तख्ते पर चढ़कर फंदे को चूमा और बेहद हर्ष के साथ अपने गले में डाल दिया तो जेल के वॉर्डन में यह कहा कि यह युवक पागल है और इनके दिमाग बिगड़े हुए हैं। उस वक्त सुखदेव के द्वारा यह गीत सुनाया गया: इन बिगड़े दिमाग में घनी खुशबू के लच्छे हैं, हमें पागल ही रहने दो हम पागल ही अच्छे हैं।  पागलों के संकल्प ही काम करते है।  परमार्थ का कार्य इस तरह से करें जैसे एक माँ अपने बेटी की शादी करती है।  अंत में श्याम स्वरूप ने गुप्ता  और उनके परिवार का धन्यवाद किया जिनका सम्पूर्ण स्वरुप सतोगुणी है।

अन्त में कामधेनु आरोग्य संस्थान की अध्यक्षा शशि गुप्ता ने सभी महानुभावों का कामधेनु प्रांगण में पधारने और मार्गदर्शन देने पर धन्यवाद व्यक्त किया तथा साधुवाद दिया । उन्होंने बताया कि श्याम स्वरूप जी सिर्फ भागवत मनीषी ही नहीं लोगों के दिल के भी मनीषी है। 

इसके उपरांत मुख्य अतिथि एवं अन्य अतिथियों ने कामधेनु आरोग्य वैलनेस संस्थान एवं कामधेनु गोधाम का अवलोकन किया तथा गौ वंश को सवामणी एवं चारा अर्पित करने के उपरान्त प्रसाद ग्रहण किया।

इस अवसर पर पूर्व आई.पी.एस डी जी पी यशपाल सिंघल, पूर्व आई.पी.एस, श्रीमती आशा विष्णु भगवान, विनोद गोयल आई आर एस, सी ऐ एस के अग्रवाल, गौ भक्त आचार्य मनीष शर्मा, दिनेश गुप्ता, नवीन झा दिल्ली, राजेन्द्र सिंह गुरुग्राम, तेजपाल बिस्सर, कृष्ण कुमार बिस्सर, आयुष गुप्ता, दीपक के आर गुप्ता, सुनील कुमार गर्ग, नीलम वर्मा, सी.ए. दिनेश गोयल व देश के अन्य गणमान्य लोग उपस्थित रहे ।

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